Wednesday, March 29, 2017
Tuesday, March 28, 2017
आपत्तियों में अवसर तलाशने से मिलती है सफलता !
" उत्तम पुरुष वे नहीं हैं , जो अवसर की बाट जोहते हैं , बल्कि वे हैं जो अवसर को अपने अधीन रखते हैं ! वे स्वयं कभी अवसर के अधीन नहीं होते ! " - चेपिन ! " वही सफल होता है , जिसका काम उसे निरंतर आनन्द देता है ! " - थेरो ! क्या आप भी सफलता पाने के लिए किसी अवसर की तलाश में बैठे हैं ? यदि हाँ तो आपको जल्दी ही ऐसी नकारात्मक प्रवृति से बाहर निकलना चाहिए ! क्योंकि यदि आप में बड़ा काम करने का बल और दृढ़ संकल्प शक्ति है ,तो ही जीवन में अवसर अनुकूल होंगे ! सफलता के लिए कुछ विशेष बातों का ध्यान रखें तो सफलता मिलने के अवसर कई गुना बढ़ जाते हैं ! * - खुश मिजाज और सकारात्मक विचारों वाले लोगों के साथ रहें , ताकि आपकी जिन्दगी भी सदा खुश और मुस्कुराती रहे ! * - ऐसे मित्रों का चयन करें , जो आपको आगे बढने , कुछ नया और बड़ा करने की दिशा में प्रोत्साहित करें ! हताशा , निराशा और नकारात्मक विचारों वाले मित्रों से हमेशा दूर रहें ! * - समस्याओं में अपने आप को न उलझाएँ , बल्कि उनके समाधान खोजने की दिशा में निरंतर कार्य करें ! * - अपनी इच्छा शक्ति और संकल्प में दृढ़ता लायें ! अपने आप पर पूरा भरोसा रखें ! * - अवसर को तुरंत पहचानने की क्षमता और उसे पकड़ने की योग्यता रखें ! * - जब कोई आप पर विश्वास करें , तो इस स्तिथि को भी आप एक अवसर समझें ! * - हर रोज किसी साहस ,उत्साहवर्धन और प्रोत्साहित करने वाली किताब के कुछ पन्ने अवश्य पढ़ें ! --.....क्रमश .....
Monday, March 27, 2017
बुद्धिवर्धक और कारगर औषधी है ब्राह्मी
आयुर्वेद के ग्रन्थों के अनुसार ब्राह्मी बुद्धिवर्धक , मजबूत और जबरदस्त याददास्त , पित्त नाशक , ठंडक देने के साथ शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकालती है ! मानसिक रोगों में ब्राह्मी के पतों का चूर्ण बड़ा लाभदायक होता है ! ब्राह्मी कफ को दूर करने के अलावा खून को भी साफ कर त्वचा सम्बन्धी रोगों में भी फायदा पहुंचाती है ! हृदय की दुर्बलता में भी इसका प्रयोग अतिउत्तम होता है ! ब्राह्मी की एक टहनी में कई सारे पत्ते होते हैं तथा इसके फूल सफेद रंग के और छोटे-छोटे होते हैं ! * तेज याददास्त - ब्राह्मी 5 ग्राम और कालीमिर्च के 11 दानों को थोड़े से पानी में पीसकर पीने से फायदा होता है ! * अनिद्रा (नींद न आना ) - ब्राह्मी के 5 ग्राम चूर्ण को आधा किलो दूध में अच्छी तरह उबालकर व छानकर ठंडा करें ! इस दूध को पीने से नींद न आने की पुरानी से पुरानी समस्या में लाभ होता है ! * मजबूत दिमाग - ब्राह्मी की सूखी पतियाँ और बादामगिरी को बराबर -बराबर मात्रा में लेकर एक चौथाई कालीमिर्च की मात्रा के साथ पानी में भिगोयें ! भीगने पर इन्हें अच्छी तरह से मिक्स कर लें ! इसके बाद इसकी 3-3 ग्राम की गोलियां बना लें ! 1-1 ग्राम की गोलियां नित्य सुबह-शाम लेने से दिमाग मजबूत होता है ! * बेचैनी दूर करे - ब्राह्मी 5 ग्राम और कुठ के 2 ग्राम चूर्ण को 10 ग्राम शहद में मिलाकर लेने से उदासी व बेचैनी खत्म होती है ! * तनाव में फायदा - ब्राह्मी 5 ग्राम , शंखपुष्पी 5 ग्राम , बादामगिरी 6 ग्राम , इलायची दाने 3 ग्राम और खसखस दाने 6 ग्राम लें ! इन सभी को बारीक़ पीस लें ! इसको ठंडाई की तरह से पीने से तनाव में बहुत लाभ होता है ! इसे गर्मी के मौसम में लेना बेहतर रहता है !
Wednesday, March 22, 2017
असफलता से होकर ही निकलता है सफलताओं का रास्ता
इतिहास गवाह है , दुनिया के जितने भी सफल लोग हुए हैं, वे अपने शुरूआती दिनों और शुरूआती प्रयासों में कभी न कभी बुरी तरह असफल रहे हैं ! अधिकतर लोग जीवन में असफलता के डर से कुछ और नया करने से बचने लगते हैं ! इसका कारण कभी पहले का कोई बुरा अनुभव भी हो सकता है ! लेकिन हर बार वैसा ही हो यह जरूरी भी नहीं है ! अक्सर असफल लोगों में बड़े आत्मविश्वास की बहुत बड़ी कमी होती है ! आत्मविश्वास की कमी से व्यक्ति में स्थाई रूप से नकारात्मकता घर कर लेती है ! यह नकारात्मकता ही व्यक्ति को आगे बढने से रोकती है ! हालांकि इस नकारात्मकता से उबरना कोई बहुत मुश्किल काम नहीं है ! आत्मविश्वास बढ़ाकर और प्रयास करके नकारात्मकता से उबरा जा सकता है ! हैनरी फोर्ड ने कहा था की जो कुछ भी आप सोच सकते हैं वो सरलता से कर भी सकते हैं ! और जिस काम के बारे में आप सोचते हैं कि आप नहीं कर सकते , वो नहीं कर सकते ! अक्सर सफलता व्यक्ति की सोच और उसके जोश -जुनून तथा प्रयासों पर निर्भर करती है ! दरअसल हर असफलता हर बार कोई न कोई बड़ा अवसर लेकर ही आती है कि हम कुछ न कुछ और नया सीख जाएँ और सम्भल जाएँ की पिछली बार हमसे क्या गलती रह गई थी ! हमारे प्रयासों में कमी थी या कोई गलत कदम उठाया या अप्रत्याशित परिस्थितियों की वजह से ऐसा हुआ ! ब्रूसली ने कहा था -कि स्वयं में विश्वास रखो ! किसी सफल व्यक्ति की नकल करके कोई बड़ी सफलता नहीं पा सकता है ! भारत के पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम ने कहा था कि असफलता की कहानियों में ज्यादा सीख छिपी होती है ! अक्सर लोग अपनी रणनीति में गलती की वजह से भी असफल होते हैं !अगर ऐसा है तो एक अलग रणनीति बनाने की कोशिश करना चाहिए ! हर बार असफलता हाथ लगने वाले लोगों को अपनी रणनीति और अपनी दिशा बदलकर अगला प्रयास करना चाहिए ! देखिये सफलता आपके आस -पास ही कहीं मंडरा रही है !
Monday, March 20, 2017
जीवन की सीख
* -धन संपति खो देना नुकसान है ! दोस्त खो देना इससे भी बड़ी क्षति है ! लेकिन सबसे बड़ा नुकसान साहस-हौंसला खो देना है ! साहस खो देना यह सब कुछ खो देने के समान है ! साहस खो देना ही जीवन की सबसे बड़ी हार है ! * -जीवन में वह चीज किसी से नहीं मांगनी चाहिए जो आप खुद अर्जित कर सकते हैं या कमा सकते हैं ! क्या कोई ऐसी चीज है जो आप नहीं कम सकते ? * - जीवन के सबसे बड़े दुश्मन हमारे अवगुण ही हैं , जो हमारे अंदर छिपे रहते हैं ! इनसे हमें डटकर लड़ना चाहिए और इन्हें बाहर निकाल फेंकना चाहिए ! *- मेहनत -परिश्रम अच्छे भाग्य की जननी है ! आलस्य इसके उल्ट है ! यह इन्सान को अपने हर लक्ष्य को पाना तो दूर उसके आसपास भी नहीं फटकने देता है ! * - जो व्यक्ति अपने अपमान और घावों के बावजूद अपना साहस और हौंसला बरकरार रखता है , वही व्यक्ति इस दुनिया में कोई बड़ा काम कर पाता है ! ऐसा व्यक्ति ही दुनिया को रहने के काबिल बेहतर स्थान बना सकता है ! *- जीवन में असंम्भव को हासिल करने के लिए कभी- कभी विवेकहीन कदम भी उठाने पड़ते हैं ! *- कहते हैं सच कभी झूंठ के साथ नहीं मिलता है ! जैसे तेल पानी में ऊपर और अलग हो जाता है , वैसे ही सच भी हमेशा ऊपर ही होता है और अपनी अलग ही पहचान रखता है ! * - समझदार व्यक्ति बुढा नहीं बल्कि अनुभव के कारण और ज्यादा परिपक्व होता जाता है ! * - उस वक्त चुप रहना मुश्किल होता है , जब चुप्पी भी एक झूंठ हो ! *- कहते हैं सारी दुनिया की पूरी ताकतें एक तरफ और वो आइडिया एक तरफ जिसका वक्त आ पहुंचा है ! *- जीवन एक खिलता हुआ सुन्दर सुगन्धित पुष्प है और प्रेम इसका मधु है ! *- आशा -उम्मीद वह अदृश्य शब्द है जो ईश्वर ने हर इन्सान के ललाट पर लिखा है ! *- बुद्दी इन्सान की पत्नी है ! कल्पनाशक्ति उसकी मालकिन है और याददाश्त नौकर !
Thursday, March 16, 2017
अरोमा वाष्प से भाप स्नान
भाप ( स्टीम बाथ ) लेना एक पारम्परिक देशी उपचार है ! शरीर के बंद रोम छिद्रों को खोलकर तरोताजा करता है भाप स्नान ! स्टीम भाप वैसे तो हर मौसम में ली जा सकती है लेकिन सर्दियों के मौसम में यह विशेष फायदा पहुंचाती है ! कई देसी सुगन्धित जड़ी बुटियों को डालकर अरोमा भाप लेने से कई रोगों में फायदा होता है ! स्टीम बाथ शरीर के रोम छिद्रों को खोलकर विषैले पदार्थों व यूरिक एसिड आदि को शरीर से बाहर निकलकर मृत त्वचा को हटाता है ! अरोमा भाप पानी में कई तरह की देशी जड़ी - बूटियां , औषधियां ,तेल ,पत्तियां आदि को डालकर गर्म करके भाप लेते हैं ! कब कौनसा अरोमा बाथ लें - * तेल - पानी में पिपरमेंट , लैवेंडर या कपूर के तेल की 10-15 बूंदें , यूकेलिप्टस डालकर भाप लें ! फायदा - इस तेल की भाप लेने से इसकी खुशबु और औषधीय प्रभाव से तनाव ,बैचेनी ,अनिद्रा ,सिरदर्द आदि को दूर कर दिमाग को तरोताजा रखता है ! गले की खराश दूर होकर फेफड़े से कफ बाहर निकालने के साथ ही सिरदर्द में राहत मिलती है ! साथ ही खांसी ,सर्दी -जुकाम निमोनिया आदि को दूर कर साँस नली में मौजूदा बैक्टीरिया को नष्ट करता है ! * पत्तियां - गर्म पानी में औषधीय व खुशबूदार फूलों व पौधों की पत्तियां जैसे - तुलसी ,लैवेंडर ,लेमनग्रास ,मोगरा ,कमल ,चमेली ,रोजमेरी ,पुदीना और यूकेलिप्टस डालकर भाप लेते हैं ! फायदा - इस अरोमा बाथ की खुशबु शरीर को तरोताजा करने के साथ ही मानसिक सुकून भी पहुंचाती है ! यह त्वचा की चमक बढ़ाने ,बढती उम्र का असर कम करने के साथ ही मुंहासों में फायदेमंद है ! * क्वाथ - चिकित्सक की सलाह के अनुसार म्हास्नानादी , दसमूल और एरंडमूल क्वाथ डालकर भाप लें ! फायदा - आर्थराइटीस , वात रोगों में होने वाले जोड़ों का दर्द , जकडन और सूजन में फायदा होता है ! * मसाले - दालचीनी , अदरक , अजवाइन , हल्दी , सोंफ आदि की भाप ले सकते हैं ! फायदा - सिरदर्द , खांसी - जुकाम , साँस से जुड़े रोग व नाक बंद होने में कारगर है ! कैसे लें - पूरे शरीर को भाप देना सबसे अच्छा होता है ! अगर शरीर के किसी खास हिस्से को ही , जैसे जोड़ों का दर्द आदि है तो प्रभावित हिस्से को ही भाप दें ! भाप के पांच बड़े फायदे हैं - 1 - रक्तसंचार बढ़ता है , 2-इम्युनिटी बढती है , 3- बैक्टेरिया -वायरस नष्ट होते हैं , 4- वजन घटता है , 5-मसल्स को आराम मिलता है ! ध्यान रखें -भाप न्यूनतम 15-20 मिनिट और अधिकतम 30 मिनिट ही लेवें !
Tuesday, March 14, 2017
अरोमाथैरेपी से देशी उपचार (भाग -1)
आयुर्वेदिक ग्रन्थों एवं चिकित्सकों के अनुसार इसमें जो पेड़ पौधे और फूलों के अर्क का प्रयोग किया जाता है वे पूर्ण रूप से प्राकृतिक होते हैं ! इनका सीधा असर शरीर के रोग ग्रस्थ हिस्से पर पड़ता है ! अरोमा का सीधा सा अर्थ है -खुशबू व थैरेपी का मतलब है उपचार ! यानी खुशबु की मदद से उपचार !अरोमा थैरेपी एक औषधीय उपचार की एक सरल और देशी प्रक्रिया है जिसमें कई पोधों से खुशबु एवम उनके अहम तत्व विशेष विधि से निकालकर उनका प्रयोग कई रोगों के इलाज में किया जाता है ! अरोमा थैरेपी में कई तरह के सुगन्धित तेल , पानी की भाप,कुछ सुगन्धित मिश्रण आदि का इस्तेमाल मालिश और नहाने के लिए किया जाता है ! इस थैरेपी के दौरान शरीर पर मौजूद कई एक्यूप्रेशर बिन्दुओं की बाहरी रूप से मसाज की जाती है ,जिससे शरीर को आराम मिलता है ! * चंदन- चंदन की खुशबु वाले उत्पादों के प्रयोग से पेशाब में जलन और रुकावट में आराम होता है ! इसके अलावा सीने में दर्द ,तनाव आदिके लिए भी यह कारगर है ! आध्यात्मिक रूप से भी इसके कई फायदे हैं ! ध्यान व योग के दौरान चंदन की खुशबु एकाग्र क्षमता बढ़ती है ! अरोमा थैरेपी में चन्दन के तेल की मालिश से शरीर की सूजन दूर होती है ! यह त्वचा का रूखापन कम कर नमी बढ़ता है ! * नींबू - नींबू की खुशबू से एकाग्र क्षमता बढ़ती है ! यह आर्थराइटीस, मुहासों को दूर करने व पाचन क्षमता को दुरुस्त करने में बड़ी कारगर है ! नींबू की महक दिमाग की उथल -फुथल को शांत करके मानसिक कार्य क्षमता को बढ़ाती है ! सिरदर्द से राहत पाने और रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए भी नींबू की महक मददगार हो सकती है ! * गुलाब - गुलाब की खुशबु से तनाव के अलावा पितदोष , और पाचन से जुडी समस्याओं में आराम मिलता है ! इसके अलावा रक्तसंचार ,हृदय और सांस् संबंधी रोगों जैसे अस्थमा में राहत देता है ! महिलाओं को होने वाली दिक्कतों में भी गुलाब की महक बड़ी कारगर होती है ! नोट - गर्भवती महिलाएं गुलाब की खुशबु न लें ! क्रमश ''''''''''
Monday, March 13, 2017
सफल लोग ऐसे करते हैं अपने दिन की शुरुआत
सफल लोगों में कोई न कोई विशेष बात जरुर होती है ! सफल लोग भी वही काम करते हैं जो आम लोग करते है , लेकिन उनका काम करने का तरीका औरों से कुछ अलग हट कर होता है ! दरअसल व्यक्ति के दिन की गतिविधियाँ बहुत कुछ इस बात पर निर्भर करती हैं की वे सुबह की शुरूआत कब और किस तरह करते हैं! उनका दैनिक रूटीन क्या है ? अधिकतर सफल लोग सख्त मोर्निग रूटीन का पालन करते हैं और मानते हैं की सकारात्मकता और उत्पादकता के लिए सुबह जल्दी उठाना और रातकी पर्याप्त नींद जरूरी है ! आज में आपको कुछ सफल लोगों की दिन की शुरुआत के बारे में बता रहा हूँ की सफल लोग अपने दिन की शुरुआत किस तरह करते हैं ! * वर्जिन ग्रुप के फाउंडर रिचर्ड ब्रेनसन रात को सोने से पहले अपने घर की खिड़की का पर्दा खुला रखते हैं ! वे कहते हैं सुबह-सुबह सूरज की किरणें सीधे मेरी आँखों पर गिरे ,ऐसा होने में मुझे बड़ा आनन्द आता है , और मैं अपने आपको पूरा एनर्जेटिक महसूस करता हूँ ! मुझे ये पसंद है ! वे सुबह लगभग पांच बजे उठ जाते हैं , और उसके बाद स्वीमिंग और सर्फिग से अपने दिन की शुरूआत करते हैं ! * माइक्रोसॉफ्ट के बिल गेट्स लगभग पांच बजे उठ जाते हैं ! वे सुबह एक घंटा नित्य ट्रेडमिल पर बिताते हैं ! रात को सोने से पहले वे अगले दिन के काम की पूरी रुप रेखा बना लेते हैं ! वे रात को सोने से पहले कुछ रुचिकर किताबें जरुर पढ़ते हैं ! वे कहते हैं की ऐसा करने से उन्हें रात भर अच्छी और भरपूर नींद आती है ! * अमेजोन के सीईओ जेफ़ बिजोस सुबह जल्दी उठ जाते हैं ! वे कहते हैं की हर हाल में वे आठ घंटे की भरपूर नींद लेना चाहते हैं ! * पेप्सिको की सीईओ इंदिरा नुई हर सुबह चार बजे ही उठ जाती है ! वे अपनी दैनिक दिनचर्या से निवृत होकर सात बजे अपने आफिस पहुंच जाती है ! वे कहती हैं की नींद ईश्वर का वरदान है और ये सब उसी का दिया हुआ है ! सफल लोग भरपूर मेहनत और कड़े प्रयास करते हैं और अपनी कुछ आदतों को पूरी तरह बदलकर उनको जीवन का अंग बना लेते हैं ! कड़े नियमों का पालन करना ही शायद इन सफल लोगों की सफलता का राज है !
Sunday, March 12, 2017
परिश्रम से दुनिया में सब कुछ पाया जा सकता है !
* जीवन में उम्मीद रखना ही सबसे बड़ी ख़ुशी है ,और डर जीवन का असली दुःख ! * कहते हैं खूबसूरती चीजों में नहीं दिमाग में होती है और सुख इन दुनिया की भौतिक वस्तुओं में नहीं बल्कि दूसरों की सहायता करने में मिलता है, और जब जानकार लोग मिलते हैं तो ख़ुशी मिलती है ! * संस्कार और परम्पराएँ इन्सान की जिन्दगी की शानदार रहनुमा होती है ! जीवन की कई समस्याओं के बारे में यह हमें पहले ही आगाह कर उनका समाधान पहले ही सुझा देती है और कई गलत फैसले लेने से हमें बचा लेती है ! * प्यार करना ,नफरत करना ,सोचना ,देखना और अनुभव करना इन सबसे व्यक्तित्व बनता है ! *आदतें हमें विश्वास और उम्मीद देती हैं ,लेकिन ज्ञान नहीं देती ! * दार्शनिक बनना अच्छी बात है ,लेकिन आपके पूरे दर्शन का उदेश्य इंसानियत होनी चाहिए ! * कितनी बड़ी आश्चर्य की बात है कि बहुत सारे लोगों पर कुछ गिने चुने लोगों का राज होता है ! * समझदार और ज्ञानी लोगों की मान्यताएं भी सबूतों और यथार्थ पर ही आधारित होती है ! * जब बोलने की शक्ति शीर्ष पर होती है ,तब तर्को और चिन्तन का कोई महत्व नहीं होता ! * वे लोग बड़े खुशनसीब होते हैं ,जिनकी समस्याएं उनके मिजाज और क्षमताओं से मेल खाती हैं ! लेकिन सबसे अच्छे वे लोग होते हैं , जिनका मिजाज और क्षमताएं किसी की समस्या को हल करने और उनकी सहायता करने का मादा रखती हैं! * जब व्यक्ति को खुद पर बड़ा भरोसा होता है ,और उसे अपने काम पर अधिक अभिमान होता है , तब इस बात की बहुतअधिक संभावना बढ़ जाती है कि वो कोई गलत फैसला कर जाये ! * अगर जीवन में आगे बढना है तो अपने साथियों को भी फैसले लेने दें ! * जीवन में यह सच्चाई जानना और इसे स्वीकारना बहुत जरूरी है की असफलता भी काम का ही एक हिस्सा मात्र होती है ! * व्यक्ति के विचार सकारात्मक होना चाहिए ,सकारात्मक विचारों के साथ की गई कड़ी परिश्रम से ही बड़ी सफलता हासिल की जा सकती है ! * जीवन में अच्छे लोगों का साथ और उनका अच्छा इस्तेमाल जीवन की बड़ी जंग जितने के लिए जरूरी है ! अक्सर व्यक्ति अपनी विफलता या किसी प्रतिकूल परिस्थिति में दूसरों को दोष देकर , या तकदीर के माथे सब-कुछ डालकर बच निकलने का आसान रास्ता खोजने की कोशिश करता है ! मगर असल में ऐसा कोई आसान रास्ता होता नहीं है ! जबकि सच्चाई की बात तो यह है की असफलता ही व्यक्ति की सच्ची और बड़ी दोस्त होती है ! अगर जीवन में असफलताएं ना हों , तो सफलता के अर्थ और महत्व ही खत्म हो जायेंगे !
अगर जीवन में सफल होना चाहते हैं तो निगेटिव लोगों से दूर रहो !
जर्मनी की फ्रेडरिक शिलर यूनिवर्सिटी की एक वैज्ञानिक रिसर्च के परिणाम से पता चला है कि जब आप निगेटिव लोगों से मिलते हैं तो दिमाग बेवजह ही तनाव से भर जाता है ! एक दूसरी रिसर्च में यह भी ज्ञात हुआ है कि अच्छा काम करने वाले 90-95 % लोग तनाव को मैनेज या दूर करने में सक्षम होते हैं ! कुछ तरीके हैं जो निगेटिव लोगों से दूर रहने में मददगार हो सकते हैं ! * हर काम की प्रतिक्रिया होती है ! सफल लोग अपने काम से मिली ख़ुशी को किसी और की प्रतिक्रिया या राय के आधार निर्णय नहीं करते ! क्योंकि जिस काम को लेकर संतोष हो उस पर किसी की तुलना के आधार पर मिली प्रतिक्रिया के कारण कम नहीं होने देना चाहिए ! सबसे अहम कारण यह है की खुद को समझना बहुत जरूरी है ! सफल लोग यह बात बहुत अच्छी तरह से जानते हैं की वे उतने बुरे या उतने अच्छे भी नहीं हैं जितने लोग उनको बताते हैं ! * असल में अपनी सीमाएं भी तय करना जरूरी होता है ! एक साथ काम करते हुए ऐसा करना थोडा मुश्किल जरुर होता है ,लेकिन अगर थोडा प्रयास किया जाये तो कोई न कोई रास्ता जरुर निकल आता है ! * अधिकतर निगेटिव लोगों की आदत अक्सर शिकायत करने, बिना मांगे अपनी राय देने या हर काम में कोई न कोई मीन मेख निकलने की होती है ! क्योंकि निगेटिव लोगों को ऐसा करने में ही बड़ा आनन्द आता है ! इनका अपने काम में तो फोकस होता नहीं है और दूसरों की गलतियाँ नजर आती रहती है ! क्योंकि निगेटिव लोग सदा ईर्ष्यालु प्रवृति के होते हैं ! निगेटिव लोगों से थोड़ी दुरी बनाकर रखना ही अच्छा होता है ! जीवन में जिम्मेदारियां नई चुनौतियाँ लेकर आती है ! जीवन एक सपना है या हकीकत !अगर जीवन सपना होता तो दुनियां के लोग इतनी मेहनत क्यों करते ! कहते हैं जीवन और उपलब्धियां व्यक्ति के आरामदायिक स्थिति से बाहर निकलने के बाद ही शुरू होती हैं !
Saturday, March 11, 2017
बच्चों को संस्कार संस्कृति और परम्पराओं से जोड़ें !
संस्कार -संस्कृति और परम्पराएँ भारतीय जीवन के आधार हैं ! हमारे बड़े -बुजुर्ग कहते हैं कि बच्चों को समय , संस्कार -संस्कृति और परम्पराएँ दें , तो फिर कुछ और देने की जरूरत नहीं होती ! पर अफसोस है कि आज हमारे बच्चों को यही चीजें नहीं मिल रही है ! अगर यही स्तिथि रही तो एक दिन आने वाली पीढ़ी के पास दौलत , शोहरत और सारी भौतिक सुविधा होते हुए भी इस बुनियाद से वंचित रह जायेंगे ! हमारे समय में मांएं अपने बच्चों को इन्सान बनाने का पाठ पढ़ाया करती थी ! वे कहती थीं कि बेटा -बेटी को जन्म देना कोई बड़ी बात नहीं हैं ,बड़ी बात है उन्हें समय ,संस्कार ,संस्कृति और परम्पराएँ देना ! पहले मांएं , दादी , नानी ,भुआ अपने -अपने हिस्से का फर्ज निभाया करती थी ! लेकिन आज ये सब नहीं होता है ! कमाऊ माँ - बाप पैसा खर्च करने को तो तैयार हैं पर अपने बच्चों के पालन -पोषण पर ध्यान देने और संस्कारों के लिए समय देने को तैयार नहीं हैं ! आज बच्चों की परवरिश को भी आउटसोर्स किया जाने लगा है ! कईअभिभावक भारतीय संस्कार और परम्पराओं को दकियानूसी और समय की बर्बादी बताकर छोड़ते जा रहे हैं ! मजबूरी हो या पसंद , आज नगर हों या गाँव , अधिकांशत: एकल परिवार ही होते जा रहे हैं ! आज बच्चों को उनके पूर्वजों समेत संस्कार -संस्कृति और सारी विरासत से जोड़ने वाली कड़ी ,दादा-दादी,नाना -नानी जैसे बुजुर्गों से वंचित रखा जाने लगा है ! आज हमारे बच्चों से सिर्फ कहानियाँ ही नहीं छूटी है , उनके साथ भाषा , संस्कार , संस्कृति , धर्म और शिष्टाचार भी छूटता जा रहा है ! आज हमारे बच्चे मोबाइल - फोन , ऐप और इन्टरनेट के फार्मूले को तो आत्मसात कर रहे हैं , पर असल में जिन्दगी जीने के फार्मूलों से कोसों दूर होते जा रहे हैं !
Friday, March 10, 2017
देना सबसे बड़ी शक्ति है !
* जिसके पास ज्यादा है वह अमीर नहीं है , बल्कि वह अमीर है जो औरों को देता है ! जो औरों की सहायता करता है ! किसी औरों को देना सबसे बड़ी शक्ति है ! औरों को देते समय उसे अपनी क्षमता , अपने धन और अपनी ताकत का अहसास होता है ! और वह ख़ुशी से भर उठता है ! * जानना और फिर भी यह मानना कि नहीं जानते , उच्चता की निशानी है , और अज्ञानी होना और फिर भी यह मानना कि वह सब कुछ जानते हैं , सबसे बड़ी बीमारी है ! इस बीमारी से व्यक्ति को छुटकारा पाना चाहिए ! * कई बार जब लोग अच्छा काम नहीं कर पा रहे होते हैं , या कोई काम नहीं कर पाते हैं तो सोचते हैं कि उनका समय अच्छा नहीं है या समय बर्बाद हो रहा है ! लेकिन वे यह नहीं जानते कि जिस समय के बर्बाद होने की वे झूंठी चिंता करते हैं , वे समय का सही उपयोग कहाँ,कब और कैसे करते हैं ! * संसार में केवल प्रेम में ही वह ताकत है जो दुनिया में प्रेम पैदा करता है ,और दिलों में आनन्द भर देता है ! * जो लक्ष्य हम अपने लिए तय करते हैं वह सुरक्षित महसूस करने के लिए नहीं होने चाहिए , बल्कि इसलिए होने चाहिए कि असुरक्षा की भावना को सहन करने में सक्षम हो सकें ! * लोगों का इगो बहुत बड़ा होता है , इतना बड़ा कि इसके लिए वह बहुत कुछ कर जाता है ! यह अलग बात है की वह स्वयं को जानता नहीं है ! * पहले से तय की गई चीजें उदेश्य की तलाश में बाधा डालती हैं ! और अनिश्चित चीजें इन्सान को अपनी ताकत और क्षमता पहचानने का भरपूर मौका देती हैं ! * इन्सान की जिन्दगी का मुख्य उदेश्य स्वयं को पहचानना होना चाहिए !वह बनना होना चाहिए जो बनने की उसमें क्षमता है ! इन्सान का मुख्य लक्ष्य इंसानियत को जन्म देना होना चाहिए !
Thursday, March 9, 2017
साथी जीवन के मेरे !
- मैंने चलना सीख लिया है , मैं नहीं जानता रुकना ! पल-पल बरसा करता देखो ,मेरे जीवन में चाँदी सोना !! मैं अच्छी तरह से जान चुका हूँ , कैसी होती है ये पीड़ा ! पर मैंने हँसना सीख लिया है ,करती मेरी चिन्ताएं भी क्रीडा !! सुना है होती जाती पल-पल , ये खाली जीवन की प्याली ! पर मैं तो हो गया हूँ मतवाला ,पीकर खूब प्रेम मदिरा मतवाली !! कहते हैं ये जग है असार , पर ये मुझे तो सार दिखाता है ! मेरे जीवन में तो देखो यारों ,सुख का सागर लहराता है !! सुख भरे सुनहरे ये रात-दिन , रहते देखो सदा मुझे घेरे ! प्रेम- विश्वास- साहस- जुनून , ये सब हैं साथी जीवन के मेरे !!
Wednesday, March 8, 2017
Tuesday, March 7, 2017
नया करें और बड़े सपने देखते हुए बड़ा सोचें ]
जीवन प्रकृति प्रदत्त अनमोल तोहफा है ! जीवन में कुछ नया करें! हमेशा बड़े सपने देखें और बड़ा ही सोचें ! जीवन में कुछ बड़ा करने के लिए पावरफुल लक्ष्य तय करना जरूरी है ! लक्ष्य व्यक्ति को फोकस कर देते हैं ! लक्ष्य हासिल करने के कुछ तरीके हैं ! सबसे पहले अपनी सारी कार्य योजना को व्यवस्थित रूप से एक कागज पर लिख लें ! फिर उसका बारीकी से एनालिसिस करें कि क्या ये सब कुछ ठीक है , संतोषजनक है ? ऐसा करने से आपको अपनी सारी स्थिति का पता हो जायेगा ! इसके साथ ही साथ एक बेस लाईन भी तैयार हो जाएगी ! ऐसा करके आप जीवन में अपने बेहतर भविष्य की बेहतर कल्पना की ओर आगे बढ़ सकते हैं ! अब आपको अपने बड़े सपनों के बारे में सोचना चाहिए ! जीवन में कभी छोटे सपने मत देखो ! सपने बड़े और खुली आँखों से देखे जाने चाहिए ! बड़े सपने वे ही पूरे होते हैं जिनमें आपको उर्जा भरकर रोमांचित करने की असीम ताकत होती है ! जिनमें आपको ख़ुशी से भर देने की शक्ति होती है ! जो सपने आपको उत्साहित नहीं करते , ऐसे निरुत्साहित सपने कभी पूरे नहीं होते ! बड़े सपने देखते समय अपने आपको किसी सीमा में मत बांधिए ! सपने हमेशा जोशो -जुनून, उत्साह -हौसलों और एक्शन से ही पूरे होते हैं ,और यही प्राथमिकता में होना चाहिए ! जीवन के लक्ष्य हमेशा स्पेसिफिक ,रियलिस्टिक और मेजरेबल ही होने चाहिए ! लक्ष्य हासिल करने की एक समय सीमा भी तय कर लेनी चाहिए कि कब तक इन्हें हासिल करना है ! पावरफुल लक्ष्य व्यक्ति का जीवन ही बदल देते हैं !
क्रिएटिव लोगों की आदतें !
क्रिएटिव लोगों की आदतें आम लोगों से कुछ अलग हटकर होती हैं ! किसी के काम करने का तरीका , रूटीन अलग होता है तो किसी की सोने जागने की आदत अलग और अजीब होती है ! किसी को दिन में तो किसी को नींद में इनोवेटिव आइडिया आते हैं ! किसी को समूह में मिलकर काम करना पसंद है, तो किसी को अकेलापन या एकदम एकान्त जगह पसंद है ! बीथोवन को बाथरूम में आइडिया आते थे ! थोमस एडिसन अल्बा को रोज बामुश्किल सिर्फ तीन घंटा ही सोने की आदत थी ! क्रिएटिव लोगों में कुछ खास आदतें होती हैं जो उन्हें औरों से अलग और खास बनाती है ! और हमेशा काम में लगाये रखती है !वे अक्सर आलोचनाओं को नजरांदाज कर देते हैं !वे आलोचनाओं को या तो सुना -अनसुना कर देते हैं या उन्हें सकारात्मक तरीके से लेते हैं ! वे हर बातों को नया कुछ सीखने की तरह लेते हैं ! क्रिएटिव लोगों की कल्पनाशीलता बड़ी गजब की होती है ! ये लोग अपनी सफलता को पहले ही देख लेते हैं ! और इस तरह वे अपने आप को याद दिलाते रहते हैं की उनका लक्ष्य क्या है ! इस तरह वे अपने लक्ष्य पर फोकस्ड बने रहते हैं ! ये लोग वो ही काम करते हैं जो उन्हें सही लगता है या जिसमें उनका पूरा भरोसा होता है ! ये लोग अपने मन की बात सुनते हैं और उस पर उन्हें पूरा भरोसा होता है ! ये विनम्र और डाउन टू अर्थ होते हैं !
Monday, March 6, 2017
भारत के अरबपतियों का निवास
दिल्ली का लुटियंस जोन- इन दिग्गजों के महल हैं यहाँ ! * सुनील मित्तल -भारती एयरटेल, * नवीन जिंदल -जिंदल समूह , * लक्ष्मी मित्तल -स्टील किंग , * केपी सिंह -डीएलएफ , * जैन परिवार -टाइम्स समूह , * कमल तनेजा -टीडीआई ग्रुप , * शशी रुइया- एस्सार ग्रुप , * बर्मन परिवार -डाबर ग्रुप , मुम्बई का मलाबार हिल्स - इन दिग्गजों के महल है यहाँ ! * बिडला समूह , * गोदरेज परिवार , * महिंद्रा ग्रुप , * रुइया ग्रुप , * वेणुगोपाल धुत -विडियोकान ग्रुप , * पंकजा मुंडे - ग्रामीण मंत्री , * विनोद तावडे - शिक्षा मंत्री , * सुधीर मुनगटीवार - वित्त मंत्री * प्रकाश मेहता - आवास मंत्री , * चन्द्रशेखर बावनकुले - उर्जा मंत्री !
सफलता , जीवन और अवसर
उत्तम पुरुष वे नहीं हैं, जो अवसर की बाठ जोहते हैं ,बल्कि वे हैं जो अवसर को अपने अधीन रखते हैं ! वे स्वयं अवसर के अधीन नहीं होते ! सफलता को व्यक्ति की सोच से नापा जा सकता है ! व्यक्ति कितना बड़ा सोचता है ,यही उसकी उपलब्धियों और सफलता को दर्शाता है ! सिकन्दर ने जब एक शहर जीत लिया तो ,किसी ने उनसे पूछा की, यदि अवसर मिला तो क्या आप दूसरा शहर भी जीतेगें ? सिकन्दर ने जवाब दिया ,अवसर ? यह क्या होता है ? मैं तो स्वयं अवसर बनाता हूँ ! * सफलता पाने के लिए सबसे पहले अपनी इच्छा -शक्ति में द्ढता लाएं ! * अवसर को पहचानने की क्षमता और उसे पकड़ने की योग्यता रखें ! * जब कोई आप पर विश्वास करें ,तो इस स्थिति को भी आप एक अवसर समझें ! * खुशमिजाज और सकारात्मक विचार वाले लोगों के साथ रहें ,ताकि आप की जिन्दगी भी मुस्कुराती रहे ! * समस्याओं के जाल में स्वयं को न उलझाएँ बल्कि उनके समाधान खोजने की दिशा में कार्य करें ! * ऐसे मित्रों का चयन करें जो आपको आगे बढने ,कुछ नया करने की दिशा में प्रोत्साहित करें ! निराशा , हताशा की बात करने वाले मित्रों को अपने से दूर रखें ! दुनियां के सफल लोगों ने आपत्तियों में ही अवसर ढूंढे हैं ! यदि व्यक्ति में अपने काम करने का जुनून, बल और दढ संकल्प शक्ति है तो प्रत्येक अवसर अनुकूल होगा ! जीवन में वही सफल होता है , जिसका काम उसे निरंतर आनन्द देता है !
Sunday, March 5, 2017
ख़ुशी कहाँ है !
ख़ुशी क्या है ? ख़ुशी वह है जो युधिष्टिर को धर्म के पालन में मिली होगी ! विक्रमादित्य को न्याय देने में मिली होगी ! वही जो हरिश्चंद्र को सत्य बोलने में मिली होगी ! वही जो एक बच्चे को रेत या कीचड़ में खेलने से मिलती होगी ! वही जो कालिदास को अपनी नाट्य रचनाओं को लिखने पर मिली होगी ! जो खरीदी जा सके वह ख़ुशी नहीं है ! जो नापी जा सके वह ख़ुशी नहीं है ! जो बाहर से प्राप्त की जा सके वह भी ख़ुशी नहीं है ! ये सब तो एक प्लेजर मात्र हैं ! ख़ुशी नहीं ! ख़ुशी भीतर से आती है ! आत्मा खुश होती है !ह्रदय प्रसन्न होता है ! जब मन मयूरा नाचने लगता है ! तो मन बाग-बाग हो उठता है -हम खुश होते हैं ! ख़ुशी ,जीवन की जननी है , जीवन की प्रेरणा है ! व्यक्ति को खुश रहने के लिए कभी दुखी नहीं होना चाहिए ! एक सच्ची कथा है ! महाकवि माघ को जो कुछ भी भेंट में मिलता वह सब किसी न किसी जरुरतमन्द को दान कर देते ! उनकी पत्नी इस आदत से बड़ी दुखी और विचलित थी ! वह कई बार उन्हें छोडकर मायके जाने की धमकियां देती ! एक बार एक निर्धन ब्राह्मण उनके घर आया ! ब्राह्मण ने उन्हें आने का अपना प्रयोजन बताया -कि उसकी बेटी का विवाह है ! किन्तु विवाह के लिए उसके पास पैसे नहीं है ! मैने सुना है की महाकवि माघ बड़े दानवीर हैं , इसीलिए मैं आपके पास आया हूँ ! ब्राह्मण की बात सुनकर माघ धक्क रह गये ! अब मैं इस ब्राह्मण के लिए पैसे कहाँ से लाऊँ ? माघ ने पहले अपने घर का सामान चुराया और फिर रात को चुपके से अपनी पत्नी के हाथ से सोने का कंगन निकाल लिया और उस ब्राह्मण को देकर भिजवा दिया ! सुबह जब पत्नी ने अपना कंगन नहीं देखा तो गुस्से से क्रुद्ध हो गयी ! माघ इधर उधर ध्यान बंटाने का झुन्ठा नाटक करते रहे ! तभी अचानक पत्नी मुस्कान लिए अपने दूसरे हाथ का कंगन माघ को देती हुई बोली - इतने विद्वान हो , फिर भी यह नहीं जानते कि बेटी को एक नहीं , दो कंगन दिए जाते हैं ! उपनिषद में है यह गाथा ! सन्दर्भ तो ग्रहस्थ जीवन है , पर सुसंस्कारी पत्नी यह समझती है कि ख़ुशी तो त्याग में है ! कैसे किसी और को प्रसन्न देखकर हम प्रसन्न होते हैं ! दूसरे को देकर ही असली ख़ुशी मिलती है!
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